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कोलकाता कांड: प्रोटेस्ट के बीच IMA की पीएम मोदी को चिट्ठी, उठाई डॉक्टर्स की सुरक्षा समेत ये 5 मांग – IMA wrote letter to PM Modi regarding Kolkata case made these demands including safety of doctors ntc

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कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ट्रेनी महिला डॉक्टर से दरिंदगी के बाद हत्या के मामले में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेटर लिखा है. इसमें IMA ने लिखा है कि ”9 अगस्त को आरजी कर मेडिकल कॉलेज की पोस्ट ग्रेजुएट छात्रा के साथ ड्यूटी के दौरान बेरहमी से रेप के बाद हत्या कर दी गई. इस घटना ने मेडिकल बिरादरी और पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है. 15 अगस्त को अस्पताल में भीड़ ने तोड़फोड़ की, जिसमें घटनास्थल समेत अस्पताल के कई हिस्सों में तोड़फोड़ हुई. पेशे की प्रकृति के कारण डॉक्टर, विशेष रूप से महिला डॉक्टर हिंसा की चपेट में आती हैं. अस्पतालों और परिसरों के अंदर डॉक्टरों की सुरक्षा सुनिश्चित करना अधिकारियों का काम है. आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुई घटना ने अस्पताल में हिंसा को सामने ला दिया है.”

पीएम मोदी को लिखे लेटर में IMA ने कहा कि ”महिलाओं के लिए सुरक्षित स्थानों की कमी के कारण बड़े पैमाने पर अपराध हो रहे हैं. सुरक्षा प्रोटोकॉल की कमी की वजह से गुंडागर्दी होती है. इस अपराध और बर्बरता ने पूरे देश की अंतरात्मा को झकझोर दिया है. देशभर के डॉक्टरों ने आज सिर्फ इमरजेंसी में ही सेवाएं प्रदान की हैं.

IMA ने पीएम मोदी को लिखे लेटर में ये मांगें रखी हैं…

1. महामारी रोग अधिनियम 1897 में 2020 के संशोधनों के (हेल्थकेयर पर्सनल और क्लीनिकल संस्थाओं में हिंसा और प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाने का निषेध विधेयक-2019) मसौदे में शामिल कर केंद्रीय अधिनियम बने. यह 25 राज्यों को मजबूती प्रदान करेगा.

2. सभी अस्पतालों के सिक्योरिटी प्रोटोकॉल किसी एयरपोर्ट से कम नहीं होने चाहिए. अनिवार्य सुरक्षा अधिकारों के साथ अस्पतालों को सुरक्षित क्षेत्र घोषित करना चाहिए. अस्पतालों में सीसीटीवी, सुरक्षा कर्मियों की तैनाती और प्रोटोकॉल का पालन किया जाए. 

3. पीड़िता 36 घंटे की ड्यूटी शिफ्ट कर रही थी, लिहाजा आराम करने के लिए सुरक्षित स्थानों के साथ ही रेस्ट रूम्स की कमी के कारण रेजिडेंट डॉक्टरों के काम करने और रहने की स्थिति में व्यापक बदलाव की जरूरत है.

4. निश्चित समयसीमा के अंदर किसी अपराध की सावधानीपूर्वक और पेशेवर जांच हो, और न्याय मिले.

5. शोकाकुल परिवार को उचित और सम्मानजनक मुआवजा दिया जाए. 

विरोध अभी खत्म नहीं हुआः IMA

सरकार की ओर से समिति गठित करने को लेकर आईएमए ने कहा कि विरोध अभी खत्म नहीं हुआ है. साथ ही कहा कि हम केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी बयान का अध्ययन कर रहे हैं. जिसमें डॉक्टरों को सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास करने का आश्वासन दिया गया है और डॉक्टर्स की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उपाय सुझाने के लिए एक समिति बनाने की पेशकश की गई है. इंडियन मेडिकल एसोसिएशन सभी पहलुओं पर सावधानीपूर्वक विचार करने और अपनी स्टेट ब्रांच के साथ विचार विमर्श के बाद जवाब देगा. 

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