कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में ट्रेनी डॉक्टर के साथ हुई रेप और मर्डर की वारदात को लेकर आम लोगों में उबाल है. देश भर के अस्पतालों में डॉक्टर और स्वास्थ्य कर्मी इस जघन्य घटना के विरोध में प्रदर्शन कर रहे हैं. इस आंदोलन को लेकर बांकुरा के तृणमूल कांग्रेस सांसद अरूप चक्रवर्ती ने विवादित बयान दिया है.
तृणमूल कांग्रेस के सांसद अरूप चक्रवर्ती ने कहा है कि मुख्यमंत्री पर स्याही पोतने की किसी भी कोशिश के गंभीर परिणाम होंगे. उन्होंने यह भी चेतावनी दी है कि चल रहे विरोध प्रदर्शन में भाग लेने वाले डॉक्टरों को जनता के गुस्से का सामना करना पड़ सकता है. डॉक्टर अपना चिकित्सकीय काम करने के बजाय आंदोलन के नाम पर घर चले जाएंगे और डॉक्टर आंदोलन के नाम पर अपने बॉयफ्रेंड को लेकर घूमने चले जाएंगे तो जन रोष तो होगा ही.
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अस्पताल की सेवाएं बाधित रहीं तो फैल सकता है आक्रोश
मचंतला में एक रैली में चक्रवर्ती ने विपक्ष के प्रयासों की आलोचना की और प्रदर्शनकारी जूनियर डॉक्टरों को काम पर लौटने की चेतावनी दी. उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि अगर अस्पताल की सेवाएं बाधित रहीं तो लोगों में आक्रोश फैल सकता है. उन्होंने पुलिस के एक वर्ग को कथित तौर पर विपक्षी गतिविधियों का समर्थन करने के लिए फटकार लगाई और उनसे राज्य सरकार के निर्देशों का पालन करने का आग्रह किया. साथ ही कहा, जनता का गुस्सा भड़क सकता है, अगर लोगों के मरीज मारे गए तो जनता में आक्रोश फैलेगा. अगर मरीज बिना इलाज के मर गए तो क्या मरीज के परिजन उन्हें छोड़ देंगे.
सीपीएम ने चक्रवर्ती के बयानों की कड़ी निंदा
उन्होंने पुलिस को भी आड़े हाथों लेते हुए कहा कि कुछ पुलिसकर्मी ऐसे हैं जो निष्पक्ष तरीके से काम नहीं कर रहे हैं. उन्होंने यह भी याद दिलाया कि वे सरकार के अधीन काम करते हैं. उन्हें यह बात ध्यान में रखनी चाहिए. हमारे पास ऐसी खबरें हैं और हम इसे उच्चतम स्तर पर रिपोर्ट करेंगे. वहीं, सीपीएम ने चक्रवर्ती के बयानों की कड़ी निंदा की है और उन पर विपक्ष, प्रदर्शनकारी डॉक्टरों और यहां तक कि पुलिस सहित सभी को जनता के आक्रोश के सामने विरोधी के रूप में देखने का आरोप लगाया है.
क्या है मामला?
बता दें कि कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार हॉल में 9 अगस्त, 2024 को एक पोस्ट ग्रेजुएट ट्रेनी डॉक्टर मृत पायी गई थी. रेप के बाद उसकी हत्या कर दी गई थी. इस घटना से पूरे देश में आक्रोश है, जिसके बाद से ही देशभर में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं. कोलकाता में मेडिकल क्षेत्र से जुड़े तमाम लोग न्याय की मांग उठा रहे हैं.
कोलकाता रेप-मर्डर केस के आरोपी संजय रॉय का पॉलीग्राफी टेस्ट कराने की सीबीआई को इजाजत मिल गई है. जांच एजेंसी ने कोर्ट में अर्जी दायर की थी. इससे पहले एजेंसी आरोपी का मनोवैज्ञानिक टेस्ट करा चुकी है. अब पॉलीग्राफी टेस्ट से पता चल सकेगा कि आखिरी आरोपी कितनी झूठ और कितनी सच बोल रहा है. सीबीआई अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष का भी पॉलीग्राफी टेस्ट कराना चाहती है.
(इनपुट- निर्भीक.)